10 Best Hindi Web Series 2021 : साल 2021 जाने को हैं. देसी विदेशी OTT ने साल भर खूब दम लगाया. डाउनलोड बढ़ाने के लिए तरह तरह के ऑफर किए.
MX Player ने एक अरब डाउनलोड का दम ठोंका. तो Netflix ने भी साल के आखिर तक आते-आते अपनी कीमत गिरा ली. प्राइम वीडियो को अपनी ई कॉमर्स सेवाओं का भरोसा हैं.
Sony Live पर कहानियां अच्छी आती दिखीं. Zee5 का भविष्य अपनी कंपनी के भविष्य के साथ ही जुड़ गया हैं. Voot Select भी कंपटीशन में हैं. उसकी अपनी अलग पहचान खास बन नहीं पाई.
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Disney+ Hotstar की सीरीज ने इस साल बार बार चौंकाया. इन तमाम OTT पर रिलीज होने वाला तमाम Web Series को देखकर आपके लिए किस सीरीज पर समय खर्च करना सही हैं
और किस पर नहीं, ये आपको साल भर बताता रहा. अब साल के आखिरी पखवाड़े में चलिए फिर बताता हूं उन 10 Best Hindi Web Series 2021 के बारे में जिन्हें आप चाहें तो सर्दियों की छुट्टियों में फिर से वॉच कर सकते हैं.
10. स्पेशल ऑप्स 1.5 ओटीटी: डिज्नी प्लस हॉटस्टार
वेब सीरीज ‘Special Ops 1.5’ को देखकर एक बात तो यह समझ आती हैं और वह ये कि निर्देशक नीरज पांडे उस शख्स पर जरूरत से ज्यादा फिदा हैं जिस पर हिम्मत सिंह का ये किरदार आधारित हैं.
भारतीय राजनीति, इसकी खुफिया एजेंसियों और उनके कार्यकलापों पर नजर रखने वाले इस पूरी वेब सीरीज के कालखंड के हिसाब से उन घटनाओं का अनुमान आसानी से लगा सकते हैं
जिन पर ये कहानी आगे बढ़ रही हैं. विपक्षी दल की महिला मुखिया. उसके बेटे की विदेश के समुद्रतटों पर महिला मित्रों के साथ मस्ती. तड़का अच्छा लगाई हैं
वेब सीरीज ‘Special Ops 1.5’ के लेखकों ने. लेकिन, इस कहानी में दुश्मन कोई बाहर का नहीं हैं. हिम्मत सिंह दरअसल अपना घर साफ करने के बाद हिम्मत सिंह बना.
09. मत्स्यकांड ओटीटी: एमएक्स प्लेयर
वेब सीरीज ‘Matsya Kand’ देखी जा सकती हैं एक एक एपीसोड करके. बिंज वॉच लायक यह सीरीज तो नहीं बन सकी हैं लेकिन टीवी पर एंकरिंग और एक्टिंग करते रहे रवि दुबे ने इस सीरीज में दिखाया हैं
कि हुनर भले हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में खेमेबाजी का शिकार होता रहे लेकिन OTT का लोकतंत्र अब आज नहीं तो कल काबिल कलाकारों का दमखम उनके प्रशंसकों तक पहुंचा ही देगी. इस लिहाज से वेब सीरीज ‘Matsya Kand’ रवि दुबे की अदाकारी का अब तक का सबसे अच्छा और सबसे बड़ा प्रदर्शन हैं.
08. आर्या 2 ओटीटी: डिज्नी प्लस हॉटस्टार
‘Aarya’ सिर्फ एक नाम नहीं है. आर्या सरीन एक बिम्ब हैं समाज की उन महिलाओं का जिन्होंने एक बड़े खानदान की बहू बनने के उपरांत भी अपनी पहचान को संजोने का जतन किया.
कारोबारी घरानों के ग्लैमरस चेहरों के पीछे कितनी बदसूरतें छिपी होती हैं, ये इस कहानी की असली मर्म हैं. हर रिश्ते का एक क्षेपक हैं और हर क्षेपक आगे चलकर अपने अलग ही दोहे, सोरठे, छंद और चौपाइयां गढ़ता जाता हैं.
आर्या को उसका भरोसेमंद पुलिस अफसर विदेश से वापस तो ले आया हैं लेकिन उसकी सारी कोशिशों पर पानी तब फिरता दिखता है जब ‘Aarya’ अपना अलग ही रास्ता पकड़ने निकल पड़ती हैं.
07. कोटा फैक्ट्री 2 ओटीटी: नेटफ्लिक्स
छोटे शहरों और कस्बों में जीवन की धुरी एक अलग ही बिंदु पर टिकी रहती हैं. ‘ब्रह्मचर्य ही जीवन है, वीर्य नाश ही मृत्यु है’ जैसी इक्का दुक्का किताब ही पिता से पुत्र को मिलने वाली पूरी ‘Sex Education’ होती हैं.
और, ये दिक्कत मेट्रो शहरों में न हो, ऐसा भी नहीं हैं. Netflix पर प्रसारित होने वाली सीरीज ‘Sex Education’ इसकी सबसे ज्यादा देखी जाने वाली सीरीज में शामिल है
और शायद Netflix की इस बूटी को इसीलिए सौरभ खन्ना और अरुणभ कुमार ने इस बार इंजीनियरिंग की प्रवेश परीक्षा की तैयारी में लगे किशोरों की कहानी ‘Kota Factory’ में भी घोल दिया.
06. ग्रहण ओटीटी: डिज्नी प्लस हॉटस्टार
हिंदी लेखकों का भी OTT पर समय आ गया हैं, ये मैं नहीं सत्य व्यास का लिखा उपन्यास ‘चौरासी’ कह रहा हैं. शुक्रिया कहना चाहिए निर्माता अजय राय का जिन्होंने चेतन भगत और विक्रम चंद्रा जैसों पर लहालोट रहने वाली मुंबई की फिल्मी दुनिया में हिंदी उपन्यासों की प्रतिष्ठा लौटाई हैं.
रंजन चंदेल ने फिल्म ‘बमफाड़’ के बाद फिर बढ़िया काम किया हैं. वह थोड़ा सतर्क रहें और अपने सहायक बढ़िया चुनें तो उनका सिनेमा बेहतर और फिर बेहतरीन भी हो सकतें हैं.
05. मुकेश जासूस ओटीटी: डिज्नी प्लस हॉटस्टार
वेब सीरीज ‘Mukesh Jasoos’ बीत रहे साल का चौंकाने वाला खुलासा जैसी हैं. न कहीं कोई प्रचार. न OTT की पीआर एजेंसी की तरफ से किसी का फोन.
मुफ्त का चंदन ऐसे ही घिसे जाने के लिए नंदन में छोड़ा जा चुका हैं. वेब सीरीज ‘Mukesh Jasoos’ के पहले एपीसोड पर क्लिक करने के बाद इसके बिंच वॉच करने का आपका मन भी जरूर करेगा.
04. एम्पायर ओटीटी: डिज्नी प्लस हॉटस्टार
वेब सीरीज ‘The Empire’ भंसाली स्कूल से निकले शागिर्दों का रीयूनियन हैं. मिताक्षरा ने ‘पद्मावत’ और ‘बाजीराव मस्तानी’ में भंसाली को असिस्ट किया.
भवानी अय्यर भी भंसाली के साथ ‘ब्लैक’ और ‘गुजारिश’ लिख चुकी हैं. संवाद और गीत लिखने वाले एएम तुराज का परिचय बिना भंसाली के जिक्र पूरा नहीं होता और शैल हांडा तो भंसाली की धुनों के साथ कितना करीब से जुड़े रहे हैं,
ये भंसाली के संगीत की जानकारी रखने वाला हर शख्स जानता ही है। वेब सीरीज ‘The Empire’ में भंसाली के प्रभाव में रहते हुए भी उनके शागिर्दों ने एक अलग उड़ान भरने की कोशिश ठीक की हैं. ये चूल्हे पर चढ़ी बटलोई में पकती दाल की तरह हैं जिसकी महक पर इसके दूसरे सीजन का अदहन टिका हैं.
03. इललीगल सीजन 2 ओटीटी: वूट सेलेक्ट
किरदार वहीं हैं, कलाकार भी अधिकतर वहीं हैं, बस निर्देशक का नजरिया बदल जाने से एक औसत सीरीज कैसे एक दमदार सीरीज में तब्दील हो सकता है, ‘Illegal’ का दूसरा सीजन इसका सही उदाहरण है.
अश्विनी चौधरी के निर्देशन में दर्शकों को किरदारों को पहले दूर से देखने की आदत लगती हैं और जैसे जैसे एहसास दर्शकों के दिल से जुड़ना शुरू होता हैं,
वह दर्शकों को कहानी का हिस्सा इतने आहिस्ता से बनाता हैं कि खुद दर्शक को भी पता ही नहीं चलता. उनके निर्देशन में एक काल्पनिक कथा में असलियत की प्रतिक्रियाओं को जोड़ लेने की अनोखी क्षमता शुरू से रहा हैं.
अश्विनी बागी फिल्ममेकर हैं और इस चक्कर में वह भीड़ में शामिल भी नहीं होते. उनके सिनेमा में भी ये झलकता रहा है और अब ‘Illegal’ के दूसरे सीजन में इसका फायदा OTT मनोरंजन जगत को भी मिल रहा हैं.
02. द फैमिली मैन 2 ओटीटी: प्राइम वीडियो
‘The Family Man 2’ की शुरूआत सीधे लंका की जमीन से होती हैं. शुरू के पांच से सात मिनट की कहानी तमिल में ही चलती रहती हैं. लेकिन सबटाइटल्स अंग्रेजी में हैं
और अगर हिंदी पट्टी के लोग समझना भी चाहें कि परदे पर चल क्या रहा हैं तो उनके पास इन संवादों को समझने का कोई जरिया नहीं हैं. जासूसी की दुनिया जो राज और डीके ने पिछले सीजन से बसाई हैं,
उसके कुछ और रंग यहां पर दिखते हैं. असली जासूसी अफसर ऐसे ही काम करते हैं. बिना दुनिया की नजरों में आए. ‘The Family Man 2’ का लेखन और निर्देशन दोनों काफी अच्छा हैं. मनोज बाजपेयी का रंग भी खूब जमा हैं.
01 तांडव ओटीटी: प्राइम वीडियो
राजनीति में महिलाओं से कैसे खेल होते हैं, और किस तरह के खेलों में वह अपने महत्वाकांक्षाओं या कमजोरियों के चलते शामिल होती हैं, इस पर ‘TANDAV’ ने बहुत बारीकी से एक कथा को विस्तार दिया हैं.
राजनीति की रेखाएं कभी बिस्तर पर, कभी लाइब्रेरी में तो कभी न्यूज चैनलों पर अपने अपने हिसाब से बनाती बिगाड़ती इन महिलाओं में डिंपल कपाड़िया का अभिनय इनाम के काबिल हैं और उनके बाद नंबर दो पर हैं कृतिका कामरा.
पिता के अवैध संबंधों से 30 साल से उकताया बेटा अपनी पार्टी के तीसरी बार सत्ताशीन होने के ठीक पहले अपने भीतर के दानव से हार जाता हैं.
सैफ अली खान की खलनायकी का ये अच्छा तमाशा रहा. अली अब्बास जफर ने भी सिनेमा से निकलकर OTT पर अपने लिए एक नई लकीर खींचने में कामयाबी पाई हैं.