शुक्रवार, मई 17, 2024
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31 से 47 साल वाले बिहार के सरकारी स्कूल में डायरेक्ट हेडमास्टर बनेंगे, 150 नंबर का होगा टेस्ट, जाने डिटेल्स

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BIHAR : शिक्षा विभाग और बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) के बीच अब यह सहमति बन गई है कि अप्रैल से प्रदेश के लगभग सभी प्रारंभिक विद्यालयों में

40,506 प्रधान शिक्षकों और माध्यमिक-उच्च माध्यमिक विद्यालयों में 6421 प्रधानाध्यापकों की नियुक्ति (Appointment) के लिए विज्ञापन निकाला जाएगा.

शिक्षा विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक दोनों पदों पर नियुक्ति के लिए लिखित परीक्षा होगी. इस 2 घंटे की परीक्षा में 150-150 वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाएंगे.

प्रत्येक प्रश्न एक अंक के रहेंगे. 0.25 प्रतिशत निगेटिव मार्किंग रहेगा. यानी चार प्रश्न के गलत उत्तर देने पर आपके एक अंक कटेंगे.

परीक्षा में संबंधित हिंदी, अंग्रेजी, सामान्य अध्ययन, गणित और शिक्षक कौशल यानी एप्टीट्यूट (Aptitude) से जुड़ा हुआ प्रश्नो को पूछा जाएगा.

इन जिलों में सीटें खाली

प्रधान शिक्षक के लिए सबसे ज्यादा 1980 खाली पद पटना जिले में हैं. जबकि प्रधानाध्यापक के लिए सबसे अधिक पद 342 पूर्वी चंपारण रिक्त हैं.

प्रधान शिक्षक के सबसे कम पद 216 शिवहर जिले में हैं, वहिं प्रधानाध्यापक के सबसे कम 33 पद अरवल जिले में रिक्त पाया गया हैं.

आयु सिमा

बता दें कि न्यूनतम 31 वर्ष और वहिं अधिकतम 47 वर्ष आयु के शिक्षक ही प्रधानाध्यापक के लिए आवेदन करने के लिए योग्य होंगे. 2012 या उसके बाद नियुक्त शिक्षक के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा में उत्तीर्ण होना अनिवार्य है.

50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातकोत्तर डिग्री

इसके साथ ही मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से कम से कम 50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातकोत्तर उत्तीर्ण होना चाहिए. एससी, एसटी, अति पिछड़ा, पिछड़ा,

दिव्यांग, महिला और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लिए न्यूनतम निर्धारित अंक में 5 प्रतिशत की छूट दिया जाएगा. मौलाना मजहरूल हक अरबी व फारसी विवि, राज्य मदरसा शिक्षा बोर्ड द्वारा जारी आलिम की डिग्री

और केएसडीएस की शास्त्री की डिग्री को स्नातक के समतुल्य ही माना जाएगा. अभ्यर्थी को B.Ed या बीएएड या BSCED उत्तीर्ण होना चाहिए.

प्रधान शिक्षक पद के लिए अहर्ता

सबसे खास बात यह कि प्राथमिक विद्यालयों में प्रधान शिक्षक की नियुक्ति के लिए पंचायत या नगर प्रारंभिक शिक्षक के पद पर न्यूनतम 8 साल तक लगातार सेवा कर चुके शिक्षक ही आवेदन कर सकेंगे.

उम्र सीमा अभी तय नहीं किया गया हैं. पंचायती राज संस्था एवं नगर निकाय संस्था के अंतर्गत स्नातक शिक्षक, जिनकी सेवा संपुष्ट है, यानी जो दो साल से अधिक कार्य कर चुके हैं,

वे आवेदन कर सकेंगे. 2012 या फिर उसके बाद नियुक्त शिक्षक के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा में उत्तीर्ण होना अतिआवश्यक है.

इसके साथ ही मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से कम से कम 50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातक पास होना चाहिए. एससी, एसटी, अति पिछड़ा, पिछड़ा, दिव्यांग,

महिला और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लिए न्यूनतम निर्धारित अंक में 5 प्रतिशत की छूट दिया गया हैं. अभ्यर्थी को D.El.Ed या B.T. या बीएड या बीएएड या बीएससीएड या बीएलएड उत्तीर्ण होना चाहिए.

इस आधार पर तबादला

यहां आपको यह भी बता दें कि प्रधानाध्यापक का संवर्ग प्रमंडल और प्रधान शिक्षक का संवर्ग जिला स्तर का ही होगा. प्रधानाध्यापक का तबादला प्रमंडल और प्रधान शिक्षक का तबादला जिला स्तर पर होगा.

राज्य सरकार के नियमित कर्मियों की तरह ही इन शिक्षकों को सरकार से मिलने वाली सुविधाओं का भरपूर लाभ मिलेगा.

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Rahul
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BIHAR : शिक्षा विभाग और बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) के बीच अब यह सहमति बन गई है कि अप्रैल से प्रदेश के लगभग सभी प्रारंभिक विद्यालयों में

40,506 प्रधान शिक्षकों और माध्यमिक-उच्च माध्यमिक विद्यालयों में 6421 प्रधानाध्यापकों की नियुक्ति (Appointment) के लिए विज्ञापन निकाला जाएगा.

शिक्षा विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक दोनों पदों पर नियुक्ति के लिए लिखित परीक्षा होगी. इस 2 घंटे की परीक्षा में 150-150 वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाएंगे.

प्रत्येक प्रश्न एक अंक के रहेंगे. 0.25 प्रतिशत निगेटिव मार्किंग रहेगा. यानी चार प्रश्न के गलत उत्तर देने पर आपके एक अंक कटेंगे.

परीक्षा में संबंधित हिंदी, अंग्रेजी, सामान्य अध्ययन, गणित और शिक्षक कौशल यानी एप्टीट्यूट (Aptitude) से जुड़ा हुआ प्रश्नो को पूछा जाएगा.

इन जिलों में सीटें खाली

प्रधान शिक्षक के लिए सबसे ज्यादा 1980 खाली पद पटना जिले में हैं. जबकि प्रधानाध्यापक के लिए सबसे अधिक पद 342 पूर्वी चंपारण रिक्त हैं.

प्रधान शिक्षक के सबसे कम पद 216 शिवहर जिले में हैं, वहिं प्रधानाध्यापक के सबसे कम 33 पद अरवल जिले में रिक्त पाया गया हैं.

आयु सिमा

बता दें कि न्यूनतम 31 वर्ष और वहिं अधिकतम 47 वर्ष आयु के शिक्षक ही प्रधानाध्यापक के लिए आवेदन करने के लिए योग्य होंगे. 2012 या उसके बाद नियुक्त शिक्षक के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा में उत्तीर्ण होना अनिवार्य है.

50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातकोत्तर डिग्री

इसके साथ ही मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से कम से कम 50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातकोत्तर उत्तीर्ण होना चाहिए. एससी, एसटी, अति पिछड़ा, पिछड़ा,

दिव्यांग, महिला और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लिए न्यूनतम निर्धारित अंक में 5 प्रतिशत की छूट दिया जाएगा. मौलाना मजहरूल हक अरबी व फारसी विवि, राज्य मदरसा शिक्षा बोर्ड द्वारा जारी आलिम की डिग्री

और केएसडीएस की शास्त्री की डिग्री को स्नातक के समतुल्य ही माना जाएगा. अभ्यर्थी को B.Ed या बीएएड या BSCED उत्तीर्ण होना चाहिए.

प्रधान शिक्षक पद के लिए अहर्ता

सबसे खास बात यह कि प्राथमिक विद्यालयों में प्रधान शिक्षक की नियुक्ति के लिए पंचायत या नगर प्रारंभिक शिक्षक के पद पर न्यूनतम 8 साल तक लगातार सेवा कर चुके शिक्षक ही आवेदन कर सकेंगे.

उम्र सीमा अभी तय नहीं किया गया हैं. पंचायती राज संस्था एवं नगर निकाय संस्था के अंतर्गत स्नातक शिक्षक, जिनकी सेवा संपुष्ट है, यानी जो दो साल से अधिक कार्य कर चुके हैं,

वे आवेदन कर सकेंगे. 2012 या फिर उसके बाद नियुक्त शिक्षक के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा में उत्तीर्ण होना अतिआवश्यक है.

इसके साथ ही मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से कम से कम 50 प्रतिशत अंकों के साथ स्नातक पास होना चाहिए. एससी, एसटी, अति पिछड़ा, पिछड़ा, दिव्यांग,

महिला और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लिए न्यूनतम निर्धारित अंक में 5 प्रतिशत की छूट दिया गया हैं. अभ्यर्थी को D.El.Ed या B.T. या बीएड या बीएएड या बीएससीएड या बीएलएड उत्तीर्ण होना चाहिए.

इस आधार पर तबादला

यहां आपको यह भी बता दें कि प्रधानाध्यापक का संवर्ग प्रमंडल और प्रधान शिक्षक का संवर्ग जिला स्तर का ही होगा. प्रधानाध्यापक का तबादला प्रमंडल और प्रधान शिक्षक का तबादला जिला स्तर पर होगा.

राज्य सरकार के नियमित कर्मियों की तरह ही इन शिक्षकों को सरकार से मिलने वाली सुविधाओं का भरपूर लाभ मिलेगा.

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